चांद वेडस सितारा (हास्य)
एक बार एक सितारे ने एक चांद से कहा - ए मेरी जान , तू बात दे अपना नाम , तो तुझे मै खिलावूंगा , बनारस वाला मीठा पान, चांद ने कहा- अरे बद्तमीज , तेरे पास हे इतना ही पैसा, तो जाके खरीद ले , अपने तन के लिये एक कमीज, तारा शरमाकर बोला , मै शरीर हू इसलिये खोला, ताकी दिखू बिलकुल सलमान खान , और तेरे बाप के साथ तू भी मेरी शादी जाये मान, चांद ने कहा - अच्छा ! तो अब समझी मै प्यारे, क्या हे तेरे इशारे , ये पगली तो तुझपे कब से फिदा हे, लेकिन तू न जाने क्यो मुझसे जुदा हे, मै तो कब से करना चाहती हू वारे - न्यारे लेकिन एक तू ही कि अभी तक लागा रहा हे मेरे नारे , तारा बोला - बस रुक जा मेरी जान मै २० मिनट मी आता हू रोज - रोज का झंझट आज ही नीपटातां हू २० मिनट मे तारा चांद के सामने आया अपने संग मे दो गुलाब का माला लाया तारा ने चांद को , चांद ने तारा को माला पाहनाया सुहाग रात मानाने को तारा चांद को लेकर नभ मे आया नभ मे तारा जब चांद को दूर दूर तक तहलाया, चांद के पाव जब थक गये, तारा ने पाव भी सहलाया तारा प्यार बढाने को जब चांद के समीप आता हे चुंबन लेने को चंदा के होठो को अपने